
प्रदेश में दुग्ध उत्पादन को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से राज्य सरकार ने गोकुल पुरस्कार के लिए बजट स्वीकृत कर दिया है। दुग्ध विकास कार्यक्रम के अंतर्गत प्रदेश के 75 जिलों में सर्वाधिक दुग्ध उत्पादन व आपूर्ति करने वाले किसानों को यह पुरस्कार प्रदान किया जाएगा।
राज्य सरकार के विशेष सचिव राम सहाय यादव ने गुरुवार को गोकुल पुरस्कार योजना के लिए स्वीकृत 55 लाख 73 हजार की धनराशि दुग्ध आयुक्त, दुग्धशाला विकास उप्र.को भेज दी है। उन्होंने आदेश में स्पष्ट किया है कि गोकुल पुरस्कार के तहत प्रदेश स्तर पर प्रथम स्थान प्राप्त करने वाले दुग्ध उत्पादक को दो लाख और द्वितीय स्थान पर रहने वाले को 1.5 लाख रुपये का नकद पुरस्कार दिया जाएगा।
इसके अलावा शेष 73 जिलों के विजेता दुग्ध उत्पादकों को 51,000 रुपये की नकद राशि तथा पीतल धातु की शील्ड प्रदान की जाएगी। इस शील्ड पर गाय, दूध पीता बछड़ा और श्रीकृष्ण की मूर्ति अंकित होगी, जो पारंपरिक भारतीय दुग्ध संस्कृति और भगवान श्रीकृष्ण के गोपाल स्वरूप का प्रतीक होगी।




